कोरोना वायरस के कारण क्रिकेट पर लगा ब्रेक खत्म हो चुका है।खिलाड़ियों के लिए कोरोना काल में खेलना बिल्कुल भी आसान नहीं है, क्योंकि उन्हें कई तरह की पाबंदियों से गुज़रना पड़ रहा है। इंटरनेशनल क्रिकेट काउंसिल के नियमों और प्रोटोकॉल के हिसाब से खिलाड़ियों को बॉयो-सेक्योर बबल में रखा जा रहा है और उनके बाहर निकलने या किसी से मिलने पर प्रतिबंध है। खिलाड़ी अपने परिवार को भी किसी टूर पर नहीं ले जा सकते हैं। ऐसे में इन प्रतिबंधों को देखते हुए ऑस्ट्रेलिया क्रिकेट टीम के सलामी बल्लेबाज़ डेविड वॉर्नर को लगता है कि इस परिस्थिति में खिलाड़ी परिवार से दूर रहने की बजाय संन्यास ले लेंगे।
79 टी-20 मैचों में 2,207 रन बनाने वाले वॉर्नर ने मई में कहा था कि वह 2021 में भारत में होने वाले टी-20 विश्वकप के बाद इस फॉर्मेट से संन्यास ले लेंगे। उन्होंने कहा था, “लगातार दो टी-20 विश्वकप खेले जाने हैं और टी-20 क्रिकेट से करियर शुरु करने के बाद मुझे लगता है कि अब युवा खिलाड़ियों को मौका मिलना चाहिए।”
वॉर्नर का कहना है कि “खिलाड़ियों का अपने परिवार से दूर रहना आसान नहीं मेरी तीनों बेटियां और पत्नी मेरे करियर का अहम हिस्सा हैं। आपको हमेशा सबसे पहले अपने परिवार के बारे में सोचना होता है और जब ऐसी विकट परिस्थिति हो तो आपको गंभीर फैसले लेने होते हैं। इस बार टी20 वर्ल्ड कप ऑस्ट्रेलिया में नहीं हो रहा है। इस टूर्नामेंट को अपने देश में खेलना और खिताब जीतना एक आदर्श से होता। लेकिन अब उसे स्थगित कर दिया गया है। अब जब भारत में टी20 विश्व कप का आयोजन होगा तो मुझे इस बारे में दोबारा सोचना होगा।’मुझे हर एक प्वाइंट के बारे में सोचना होगा क्या मेरी बेटियां स्कूल जा रही हैं, मेरी पत्नी ठीक है, मुझे इस सब के बारे में सोचना होगा। इनमें से बहुत कुछ मेरे फैसले का हिस्सा हैं।ऐसे मौके आते हैं जब आप बाहर जाते हैं और अपने परिवार को मिस करते हैं। अभी की परिस्थितियों में हमें परिवार को साथ ले जाने की छूट नहीं मिलने वाली है और भविष्य बहुत डरावना होने वाला है।”