उत्तराखंड की सरकार ने तीन तलाक के मुद्दे को सुप्रीम कोर्ट तक ले जाकर देशभर में इसके खिलाफ लड़ाई लड़ने वाली सायरा बानो को सम्मान दिया है।उत्तराखंड सरकार ने सायरा बानो को राज्य महिला आयोग का उपाध्यक्ष बनाया है, साथ ही राज्य मंत्री का दर्जा भी दिया है। मुख्यमंत्री त्रिवेंद्र सिंह रावत ने खुद ट्वीट कर इस बारे में जानकारी दी। उन्होंने ट्वीट कर लिखा कि सुप्रीम कोर्ट में पहली बार तीन तलाक के खिलाफ राष्ट्रीय स्तर पर आवाज उठाने वाली सायरा बानो जी को राज्य महिला आयोग की उपाध्यक्ष, अल्मोड़ा की श्रीमती ज्योति मिश्रा शाह जी को उपाध्यक्ष और चमोली की श्रीमती पुष्पा पासवान जी को उपाध्यक्ष (तृतीय) बनाया है। सभी को हार्दिक शुभकामनाएं।
बता दें कि केंद्र सरकार द्वारा बनाए गए तीन तलाक कानून की नींव सायरा बानो के याचिका डालने के बाद ही पड़ी थी। सायरा बानो ने तीन तलाक खत्म करने के लिए सुप्रीम कोर्ट में याचिका दायर की थी, जिसके बाद उसपर तीखी बहस चली। और अदालत के रास्ते ये एक कानून बन गया और अब देश में तीन तलाक गैर-कानूनी हो चुका है। केंद्र सरकार के कानून के मुताबिक, अब किसी महिला को बोलकर तीन तलाक नहीं दिया जा सकता है वो मान्य नहीं होगा। अगर कोई ऐसा करता है तो उसे जेल भी हो सकती है।
बता दें की काशीपुर की रहने वाली सायरा बानो ने हाल ही में भारतीय जनता पार्टी की सदस्यता ली थी। और उसके कुछ दिन बाद ही उन्हें ये पद दे दिया गया़। उत्तराखंड बीजेपी के प्रदेश अध्यक्ष बंशीधर भगत के मुताबिक, सायरा बानो ने तीन तलाक के खिलाफ लड़ाई लड़ी थी और अब वो भाजपा की विचारधारा को आगे बढ़ाएंगी।