नववर्ष पर 1 जनवरी 2025 को अल्मोड़ा से काठमांडू स्थित पशुपतिनाथ मंदिर की पैदल यात्रा पर निकले अल्मोड़ा निवासी ताइक्वांडो कोच मनोज पांडेय को सभी स्थानीय निवासियों ने फूलमालाओं और भगवान शिव का जयकारा लगाकर उनकी यात्रा की मंगलकामना के साथ उन्हें अल्मोड़ा से रवाना किया। यात्रा के दूसरे दिन मनोज पांडे ने कैंची धाम स्थित बाबा नीम करौरी आश्रम में मत्था टेक आगे की यात्रा शुरु की। मनोज अल्मोड़ा से पैदल चलकर करीब नौ सौ किलोमीटर की यात्रा कर पशुपतिनाथ के दर्शन करने के लिए नेपाल के लिए निकले हैं। वह अल्मोड़ा से एक जनवरी को यात्रा पर निकले और आज पांचवे दिन प्रातः वह सिसोना से निकल नानकमत्ता साहिब में मत्था टेक खटीमा में दिन की यात्रा समाप्त कर विश्राम करेंगे।
वर्तमान में मनोज एक ताइक्वांडो ओर योग प्रशिक्षक के रूप में अल्मोड़ा के कई स्कूलों में अपनी सेवाएं दे रहे हैं साथ ही वह अपनी ताइक्वांडो अकादमी भी चला रहे हैं।
उन्होंने बताया कि यह यात्रा करने का प्रोत्साहन और विचार उन्हें अपनी पिछली पंच केदार रुद्रनाथ धाम की यात्रा से आया था जो उन्होंने जून माह में की थी। उन्होंने आगे बताया कि रुद्रनाथ में शिव की पूजा अर्चना करने के दौरान ही उनके मन में यह ख्याल आया कि उन्होंने अपनी अगली यात्रा पशुपतिनाथ महादेव के दर्शन के लिए नेपाल की करनी चाहिए। उनका यह कहना है कि यात्राएं हमें काफी कुछ सीखाती हैं जो चीजे हमें स्कूल, कॉलेज, नौकरी व प्रेम नहीं सिखा पाता है वो हमें यात्राएं सीखती हैं। उनका कहना है कि वह यात्राएं खुद को मानसिक तौर पर और अधिक सशक्त और शारीरिक रूप से खुद की सीमाएं जांचने के लिए कर रहे हैं। साथ ही उन्होंने इस यात्रा के दौरान मिल रहे लोगों के द्वारा दिए जा रहे प्रेम और सहयोग के लिए धन्यवाद भी व्यक्त किया और जल्द ही वह अपनी इस यात्रा को सफल बना कर सभी के बीच वापस अल्मोड़ा लौटेंगे।
मनोज पांडे अपनी यात्रा के तीसरे दिन शनिवार को पैदल यात्रा के दौरान सुप्रसिद्ध कैंची धाम मंदिर पहुंचे, जहां उन्होंने बाबा नीम करौरी के दर पर मत्था टेक हनुमान चालीसा का पाठ किया। मनोज के अनुसार उन्होंने अल्मोड़ा से नेपाल के काठमांडू स्थित पशुपतिनाथ मंदिर तक पैदल यात्रा का संकल्प लिया है। अल्मोड़ा से पशुपतिनाथ तक की 900 किमी की दूरी पैदल तय की जाएगी। पैरों से पर्यटन का संकल्प लेकर निकले मनोज रास्ते भर लोगों को पर्यटक स्थलों की जानकारी भी उपलब्ध कराएंगे तथा देवभूमि उत्तराखंड की सैर का आमंत्रण भी देंगे। पैदल यात्रा पर निकले मनोज लोगों को नशे से दूर रहने तथा धरा को हरा भरा बनाने को अधिक से अधिक पौधरोपण करने को लेकर भी लोगों को जागरुक कर रहे हैं।